Home गैजेट अगर व्हाट्सप्प चलाना है, तो देना होगा चार्ज, फ्री सेवाएं होगी बंद…

अगर व्हाट्सप्प चलाना है, तो देना होगा चार्ज, फ्री सेवाएं होगी बंद…

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नई दिल्ली | WhatsApp Calling का चलन पिछले कुछ वक्त में काफी बढ़ गया है. इंटरनेट कॉलिंग के लिए यूजर्स सिर्फ वॉट्सऐप ही नहीं बल्कि Signal और दूसरे ऐप्स का भी इस्तेमाल कर रहे हैं. जल्द ही इंटरनेट कॉलिंग को लेकर TRAI कुछ नया कर सकती है. इंटरनेट कॉलिंग के यूजर्स को जल्द ही एक्स्ट्रा चार्ज देना पड़ सकता है. इस पर ट्राई ने अभी कोई फ्रेमवर्क तैयार नहीं किया है, लेकिन DOT (दूरसंचार विभाग) ने TRAI (Telecom Regulatory Authority of India) इस पर विस्तृत सुझाव मांगा है. टेलीकॉम ऑपरेटर्स भी लंबे समय से ऐसी ही मांग कर रहे हैं. टेलीकॉम कंपनियां सरकार से ‘एक जैसे सर्विस एक जैसे नियम’ की डिमांड कर रही हैं.

कंपनियां कई मौकों पर कह चुकी हैं कि इंटरनेट कॉलिंग और मैसेजिंग ऐप्स को भी उनकी तरह लाइसेंसर फीस भरनी चाहिए. फीस ही नहीं बल्कि नियमों का पालन, क्वालिटी ऑफ सर्विस और दूसरे मानको को पूरा करना चाहिए. इसका कितना असर कंज्यूमर्स पर पड़ेगा ये तो अभी नहीं साफ है, लेकिन कस्टमर्स को इसके लिए चार्ज देना पड़ सकता है. एक चार्ज तो कस्टमर्स अभी इंटरनेट खर्च के रूप में दे रहे हैं. ये एक स्टैंडर्ड प्राइस है, लेकिन नए नियम लागू होने के बाद स्थिति बदल सकती है. इसका शुरुआती असर इंटरनेट कॉलिंग ऐप्स कंपनियों पर पड़ेगा, लेकिन अंत में कंज्यूमर्स को इसके लिए भुगतान करना पड़ सकता है.

TRAI इंटरनेट कॉलिंग को लेकर कैसे नियम तैयार करेगी इसकी जानकारी फिलहाल नहीं है. अभी कंज्यूमर्स को सिर्फ स्टैंडर्ड इंटरनेट चार्ज ही वॉट्सऐप और दूसरी इंटरनेट कॉलिंग के लिए खर्च करना पड़ता है. भारत में इंटरनेट सर्विस प्रोवाइडर्स और टेलीकॉम कंपनियों को लेकर कुछ तय नियम हैं. कंपनियों की मांग है कि ऐसे ही नियम इंटरनेट कॉलिंग ऐप के लिए भी होने चाहिए. साल 2008 में TRAI ने सुझाव दिया था कि ISP (इंटरनेट सर्विस प्रोवाइडर्स) को इंटरनेट टेलीफोनी की मंजूरी मिलनी चाहिए. सुझाव में कहा गया था कि ISP को सामान्य टेलीफोन नेटवर्क पर कॉल करने की सुविधा मिलनी चाहिए, लेकिन इसके लिए उन्हें इंटरकनेक्शन चार्ज देना होगा. साथ ही नियम के अनुसार इंटरसेप्शन इक्विपमेंट इंस्टॉल करने होंगे. इस साल अगस्त में DOT ने इंटरनेट टेलीफोनी पर TRAI के सुझाव को रिव्यू के लिए वापस भेजा है. दूरसंचार विभाग ने बदलती टेक्नोलॉजी को ध्यान में रखकर नए रेफरेंस मांगे हैं. PTI की रिपोर्ट के मुताबिक एक अधिकारी ने बताया, ‘इंटरनेट टेलीफोनी पर TRAI के

सुझाव को DoT ने नहीं माना है. डिपार्टमेंट ने TRAI से इंटरनेट टेलीफोनी और OTT प्लेयर्स को लेकर व्यापक संदर्भ मांगे हैं. ‘

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