दुर्ग: जिले के कपड़ा दुकान में आग लगने के बाद जवाहर मार्केट के व्यापारी और छावनी पुलिस के बीच विवाद इतना बढ़ गया कि मामला मुख्यमंत्री के पास जा पहुंचा। व्यापारी संघ ने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से मामले की शिकायत की और कहा कि छावनी पुलिस का उन्हें बिल्कुल सहयोग नहीं मिल रहा है। इसके बाद एसपी दुर्ग डॉ. अभिषेक पल्लव ने टीआई विशाल सोन को सस्पेंड कर दिया है। इस दौरान उन्हें पुलिस लाइन अटैच किया गया है।
दरअसल, 15 सितंबर को पावर हाउस अंतर्गत जवाहर मार्केट स्थित कपड़ा दुकान में आग लगने के बाद व्यापारियों का थाना प्रभारी विशाल सोन से झगड़ा हो गया था। व्यापारी संघ के अध्यक्ष गुरमीत बाधवा का आरोप है कि आगजनी की घटना छावनी पुलिस की लापरवाही से हुई है। वह लोग एक महीने पहले एसपी के नाम ज्ञापन देने छावनी थाने गए थे। उन्होंने मांग की थी कि मार्केट एरिया से कोई भी जुलूस या झांकी ना निकाली जाए। साथ ही वहां सुरक्षा के लिए पुलिस की तैनाती करने की मांग की गई थी।
उन्होंने बताया कि थाना प्रभारी विशाल सोन ने यह कहते हुए ज्ञापन लेने से मना कर दिया था कि यह काम पुलिस का नहीं है। इतना ही नहीं आगजनी की घटना की रात भी उनका रवैया सकारात्मक नहीं रहा। उल्टा वो व्यापारियों से गलत तरीके से पेश आ रहे थे। वहीं छावनी टीआई विशाल सोन का कहना है कि घटना की रात वो मौके पर मौजूद थे। उनका पूरा स्टाफ आग बुझाने में लगा था। उन्होंने फोन करके फायर ब्रिगेड को भी बुलवाया था। रही बात असहयोग का तो यह आरोप पूरी तरह से गलत है।
गुरमीत बाधवा ने बताया कि आगजनी की घटना के दूसरे दिन जवाहर मार्केट के सभी व्यापारियों ने कुछ घंटों के लिए मार्केट बंद किया था। इसके बाद उन्होंने एसपी डॉ. अभिषेक पल्लव से मुलाकात करके टीआई को हटाने की मांग की थी। एसपी डॉ. पल्लव का कहना था है कि वह खुद व्यापारियों से मिलने गए और उनका ज्ञापन लिया। उन्होंने व्यापारियों को आश्वासन भी दिया था कि जांच करने के बाद वो कार्रवाई करेंगे।
एसपी को हटाने की भी की गई मांग
बताया जा रहा है कि व्यापारी संघ ने दुर्ग एसपी को भी हटाने की मांग सीएम से की है। फिलहाल इस बारे में अभी कोई निर्णय नहीं आया है। एसपी डॉ. पल्लव का कहना है कि उनकी तैनाती राज्य सरकार जहां करेगी वह वहां काम करेंगे। रही बात शिकायत की तो उन्होंने अपना काम सही तरीके से किया है और आगे भी करते रहेंगे।
दो महीने बाद था विशाल सोन का प्रोमोशन
छावनी टीआई विशाल सोन का दो महीने बाद प्रमोशन था। वो डीएसपी बनने वाले थे। सस्पेंशन के अब उनका प्रमोशन तब तक नहीं हो पाएगा जब तक इस मामले की जांच चलेगी। जांच के दौरान उनका प्रमोशन नियमानुसार लंबित रहेगा।